कुछ वर्षों बाद ध्रुव तारा अपनी जगह से हट जायेगा

Pole star in hindi, pole star hindi, essay on pole star in hindi, dhruv tara,   
दोस्तों को शेयर कीजिये

क्या वास्तव में अटल है ध्रुव तारा पोल स्टार

हमें रात के आकाश में कई तारे दिखाई देते हैं, सभी तारे पूर्व दिशा से उगते है और पश्चिम में डूब जाते हैं पर एक तारा ऐसा है जो इन सबसे अलग है यह तारा पूर्व से  उदय होकर पश्चिम में अस्त नहीं होता बल्कि हमेशा उत्तर दिशा में दिखाई देता है इसी तारे को ध्रुव तारा या पोल स्टार कहते हैं. इसका असली नाम पोलरिस है

ध्रुव तारे को देखकर नाविक दिशा का ज्ञान केसे करते थे?

प्राचीन काल में ध्रुव तारे का बहुत महत्व था, इसके द्वारा वैज्ञानिक पद्धति से दिशा का ज्ञान प्राप्त किया जाता था, लंबी समुद्री यात्राएं करने वाले नाविक इसी की मदद से दिशा का निर्धारण करते थे, लम्बी समुद्री यात्रायें करने वाले नाविक क्षितिज रेखा से ध्रुव तारे का कोण नापते थे, जितना कोण का मान आता कितने अक्षांश भूमध्य रेखा के उत्तर में उनकी नाव स्थिति होती थी. इस तरह अपनी नाव की वर्तमान स्थिति की जानकारी उसकी सही दिशा तय करते थे, इस विद्या को जानने वाले की बहुत कद्र हुआ करती थी.

ध्रुव तारा पोल स्टार उत्तर में क्यों स्थिर होता है.?

हमारी पृथ्वी पश्चिम से पूर्व की ओर अपनी धुरी पर घूमती है, इसी कारण हमें सूरज, चांद और तारे पूर्व से उदय होते और पश्चिम में डूबते हुए दिखाई देते हैं, परन्तु ध्रुव तारा स्थिर दिखाई देता है, क्यों की  यह पृथ्वी के घूर्णन अक्ष की दिशा में स्थित है,

इसे समझने के लिए एक छोटा सा प्रयोग किया जा सकता है, एक गेंद लो और इसके मध्य में से आरपार जाते हुए एक तार पिरो दो, अब कागज का एक छोटा तारा बनाकर दीवार पर चिपका दो यह ध्रुव तारा होगा अब हम अपना प्रयोग शुरू करते हैं, इस गेंद को पृथ्वी मानो और गेंद  के आर पार जाते हुए तार को पृथ्वी के घूमने का अक्ष यानि घूर्णन अक्ष, अब तार की नोक को दीवार पर चिपके तारे की और रखते हुए गेंद को धीरे धीरे घुमाओ, अब कल्पना करो कि एक छोटी चींटी इस गेंद पर बैठी हुई है गेंद के घूमने के कारण पहले वह तुम्हारे सामने आएगी फिर घूम कर पीछे की तरफ चली जाएगी,  परंतु उसे यह लगेगा कि सारी चीजें पूर्व से उदय होकर पश्चिम में डूब रही हैं, परन्तु तार की नोक पर स्थित तारा उसे हमेशा दिखाई देता रहेगा क्योंकि वह घूर्णन अक्ष पर स्थित है,

ध्रुव तारा अपनी जगह से हट जायेगा

परन्तु क्या हो अगर घूर्णन अक्ष की दिशा थोड़ी बदल जाये? ऐसे में ध्रुव तारे की स्थिरता भी समाप्त हो जाएगी और यह उत्तर में एक जगह स्थिर नहीं दिखाई देगा.

वास्तव में हमारा असली  ध्रुव तारा पोल स्टार भी हमेशा उत्तर में ही फिक्स नहीं रहने वाला है,  इसके दो कारण हैं पहला सूर्य और चंद्रमा के गुरुत्वाकर्षण के कारण पृथ्वी का घूर्णन अक्ष थोड़ा बदलता रहता है यह हटाव बहुत धीमा होता है घूर्णन अक्ष में यह बदलाव बहुत धीमा होता है लगभग 72 वर्षों में 1 डिग्री, लेकिन इस बदलाव के लगातार होते रहने से ध्रुव तारा अपने स्थान से हट जाता है और कोई दूसरा उसकी जगह ले लेता है.

आज से 5000 वर्ष पहले Thuban नाम का तारा ध्रुव तारा था परन्तु आज ध्रुव तारा पोलरिस है,

दूसरा कारण यह है कि प्रत्येक तारे की अपनी एक निजी गति भी होती है, यूनिवर्स में कोई भी तारा स्थिर नहीं है यही कारण है कि पोलरिस की भी अपनी निजी गति है और वह इसके कारण वह पृथ्वी के घूर्णन अक्ष से हटता जाता है, कुछ हजार वर्षों बाद वर्तमान का ध्रुव थार पोलरिस भी अपनी जगह छोड़ देगा और सामान्य तारा बन जाएगा, वैज्ञानिकों का अनुमान है कि सन 2100 एसा होगा, उसके बाद कोई और तारा ध्रुव तारा बन जाएगा.

 

Tags – Pole star in hindi, pole star hindi, essay on pole star in hindi, dhruv tara,   

 

दोस्तों को शेयर कीजिये

प्रातिक्रिया दे

आपका ईमेल पता प्रकाशित नहीं किया जाएगा. आवश्यक फ़ील्ड चिह्नित हैं *

Net In Hindi.com