महाराष्ट्र का राज्य पक्षी हरियल पक्षी
महाराष्ट्र के राज्य पक्षी का नाम हरियल पक्षी है इसे इंग्लिश में Yellow footed green pigeon कहते हैं, यह एक बहुत ही सुंदर कबूतर होता है, जिसका रंग हरा ऑलिव होता है, हरियल पक्षी ऊँचे ऊँचे पेड़ वाले जंगलों, सदाबहार जंगलों, पतझड़ वाले जंगलों में पाए जाते हैं, हरियल पक्षी अक्सर सड़क के किनारे पाए जाने वाले पीपल के पेड़ों और बरगद के पेड़ों पर अपना घोंसला बनाते हैं, यह अक्सर शहरों में बने हुए छोटे बगीचा में आ जाते हैं.
सुंदर हरियल पक्षी Yellow footed green pigeon एक Schedule – IV पक्षी है वाइल्डलाइफ प्रोटक्शन एक्ट 1972 के अंतर्गत इसकी जिस की स्थिति चिंताजनक नहीं है तथा यह पर्याप्त संख्या में पाए जाते हैं.
हारिल पक्षी का आकार 29 सेंटीमीटर से लेकर 33 सेंटीमीटर तक होता है तथा इसका वजन मात्र 225 ग्राम से 260 ग्राम के बीच होता है, यह एक सामाजिक प्राणी है और झुंडो में ही पाए जाते हैं, इनके पंखों का फैलाव 17 से 19 सेंटीमीटर लंबा होता है, इनके शरीर का रंग हल्का पीला हरा होता है जोकि ओलिव के फल से मिलता-जुलता होता है इनके सर के ऊपर हल्के नीले भूरे रंग के बाल होते हैं इनकी आंखें काले रंग की होती है जिसके आसपास लाल रंग की रिंग होती है, हरियल पक्षी के पैर चमकीले पीले रंग के होते हैं जिसकी वजह से इन्हें आसानी से पहचाना जा सकता है.
महाराष्ट्र के राज्य पक्षी Yellow footed green pigeon हरियल पक्षी का वर्गीकरण
हरियल पक्षी का वैज्ञानिक वर्गीकरण किस प्रकार किया गया है
Common Name – Yellow footed green pigeon
Local Name – Hariyal or Harial
Zoological Name – Treron phoenicoptera
Kingdom – Animalia
Phylum – Chordata
Class – Aves
Order – Columbiformes
Family – Columbidae
Genus – Treron
सुंदर हरियल पक्षी हमारे भारत के अलावा श्रीलंका, बर्मा, पाकिस्तान नेपाल बांग्लादेश चीन थाईलैंड कंबोडिया इंडोनेशिया आदि देशों में भी पाया जाता है, यह केवल सिंध बलूचिस्तान और रेगिस्तानी इलाकों को छोड़कर पूरे भारतीय उपमहाद्वीप में पाया जाता है
हरियल पक्षी का आवास तथा व्यवहार Yellow footed green pigeon
हरियल पक्षी को ऊंचे ऊंचे पेड़ वाले जंगल पसंद है यह सदाबहार जंगलों में पाया जाता है यह अक्सर अपना घोंसला पीपल और बरगद के पेड़ पर बनाना पसंद करता है, भोजन की तलाश में यह उड़ते हुए शहरों के पार्क में भी अक्सर देखे जाते हैं , हरियल पक्षी दूसरे कबूतरों की तरह ही सामाजिक पक्षी होते हैं यह भी कई पक्षियों के झुंडों में रहते हैं इन का सबसे छोटा ग्रुप छोटा समूह 5 से 10 कबूतरों का होता है यह जमीन पर बहुत कम उतरते हैं तथा अक्सर पेड़ों पर और ऊंचे स्थानों पर ही बैठते हैं.
हरियल पक्षी पूर्णता शाकाहारी होता है यह कई प्रकार के फल खाता है तथा अनाज और दाने भी खा लेता है, यह कई प्रकार के फूलों की कलियां छोटे पौधों के अंकुर और बीज खाना पसंद करता है
यह हमेशा समूहों में ही उड़ान भरते हैं सुबह के वक्त इन्हें पेड़ों की सबसे ऊंची शाखों पर बैठा हुआ देखा जा सकता है.
हरियल पक्षी का प्रजनन काल मार्च से जून तक होता है, दूसरे कबूतरों की तरह ही नर हरियल पक्षी भी अपने गर्दन की थैली को फुला लेता है तथा मादा को रिझाने के लिए नृत्य करता है इस प्रकार का व्यवहार लगभग सभी प्रकार के कप्तानों की प्रजातियों में देखा जाता है.
हरियल पक्षी अपना घोंसला तिनको और पत्तियों से पेड़ों और झाड़ियों में बनाते हैं यह एक प्रजनन काल में एक से दो अंडे ही देते हैं इन अंडो का रंग चमकीला सफेद होता है, नर तथा मादा दोनों अंडों को 13 दिन तक रहते हैं अंडे से बच्चे बाहर आने पर दोनों हरियल पक्षी बच्चों की देखभाल करते हैं
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